भंवरपुर स्कूल के विद्यार्थियों ने सोलर फिल्टर चश्मे से देखा सूर्यग्रहण… रासेयो विद्यार्थियों ने उड़ेला गांव में घूम – घूम कर ग्रामीणों को दिखाया सूर्यग्रहण का नाजरा…
भंवरपुर (काकाखबरीलाल)। शा.उ. मा. वि. भंवरपुर के बच्चों ने सुरक्षित तरीके (सोलर फिल्टर चश्मे) से सूर्यग्रहण देखा। सूर्यग्रहण संबंधी जानकारी दी गई एवं इससे संबंधित भ्रांतियों को दूर किया। यह मात्र एक खगोलीय घटना है। भंवरपुर विद्यालय में सभी स्टाफ एंव विद्यार्थियों ने सूर्यग्रहण का नजारा देखा। साथ ही
उड़ेला में NSS शिविर के स्वयंसेवको ने गांव में घूम घूम कर सूर्यग्रहण दिखाया।
क्या है सूर्यग्रहण
भौतिक विज्ञान की दृष्टि से जब सूर्य व पृथ्वी के बीच में चन्द्रमा आ जाता है तो चन्द्रमा के पीछे सूर्य का बिम्ब कुछ समय के लिए ढक जाता है, उसी घटना को सूर्य ग्रहण कहा जाता है। पृथ्वी सूरज की परिक्रमा करती है और चाँद पृथ्वी की। कभी-कभी चाँद, सूरज और धरती के बीच आ जाता है। फिर वह सूरज की कुछ या सारी रोशनी रोक लेता है जिससे धरती पर साया फैल जाता है। इस घटना को सूर्य ग्रहण कहा जाता है। यह घटना सदा सर्वदा अमावस्या को ही होती है।
स्वयंसेवकों ने घूम घूम कर उड़ेला गांव के लोगो को सूर्यग्रहण का नजारा फिल्टर चश्मे से दिखाया एंव सूर्यग्रहण पर व्याप्त भ्रांतियों को दूर किया।
सूर्यग्रहण तीन प्रकार के होते है..
- आंशिक
- पूर्ण
- कंकणाकार
साल के आखिरी सूर्यग्रहण का नजारा दुनिया भर के लोगों ने देखा यह कंकडाकर सूर्यग्रहण था। यह पुर्ण सूर्यग्रहण नही था इसलिए चन्द्रमा की छाया सूर्य का पूरा भाग नहीं ढक पाया।
सूर्यग्रहण दिखाने भंवरपुर स्कूल के प्रचार्य जेपीएस नेताम, टिके पटेल,, ए के बाघ,एसएस साहू,पी भोई, एस एल चौहान, पी एन सेठ, पीके निर्मलकर, डीसी सतपथी, ए वी कदम, डीके बंधु, डीके दास, श्रीमती श्याम पटेल ,एन नंद,आर देवांगन, एच एस पटेल, एच आर चौहान, सहित रासेयो कार्यक्रम प्रभारी एन के दीवान, पूर्व स्वयंसेवक खीरसागर सहित समस्त स्वयंसेवक उपस्थित थे।