चतुर्थ समीक्षा बैठक शिक्षा के गुणात्मक सुधार पर विशेष ध्यान
सरायपाली@ काकाखबरीलाल। दिनांक 22 नवंबर 2024 को शासकीय हायर सेकेंडरी स्कूल, किसड़ी में चतुर्थ समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया। इस बैठक में विकास खंड शिक्षा अधिकारी (BEO) प्रकाश चंद्र मांझी और विकास खंड स्त्रोत केंद्र समन्वयक (BRCC) सतीश स्वरूप पटेल के नेतृत्व में संपन्न हुआ। बैठक का संचालन पटेल ने किया, जिसमें जोन के सभी प्राचार्य,संकुल समन्वयक और उच्च प्राथमिक एवं प्राथमिक विद्यालयों के सभी संस्था प्रमुख उपस्थित रहे।
बैठक का उद्देश्य शिक्षा क्षेत्र में गुणवत्ता सुधार, परख टेस्ट की प्रभावशीलता, एमडीएम (मध्याह्न भोजन योजना) की समस्याओं का समाधान और छात्रों के दस्तावेज़ तैयार करने से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर चर्चा करना था।
परख टेस्ट पर विशेष चर्चा
विकास खंड शिक्षा अधिकारी मांझी ने परख टेस्ट के महत्व और उसे प्रभावी ढंग से संपन्न कराने के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश प्रदान किए। उन्होंने कहा कि परख टेस्ट न केवल छात्रों की शैक्षणिक गुणवत्ता का आकलन करता है, बल्कि शिक्षकों के लिए भी यह एक महत्वपूर्ण मार्गदर्शक के रूप में कार्य करता है। उन्होंने बताया कि छात्रों के प्रदर्शन में सुधार लाने के लिए शिक्षकों को नियमित मूल्यांकन और रचनात्मक पद्धतियों को अपनाना होगा।
श्री मांझी ने शिक्षकों से आह्वान किया कि वे परख टेस्ट को केवल औपचारिकता न समझें, बल्कि इसे एक अवसर मानते हुए बच्चों के ज्ञान में सुधार का साधन बनाएं। ब्लॉक में 25 व 29 नवंबर को परख अभ्यास टेस्ट होगा। राष्ट्रीय सर्वेक्षण की तिथि 4 दिसंबर 2024 को निर्धारित किया गया है। पूरे भारतवर्ष में 22 भाषाओं में एक साथ यह परीक्षा आयोजित होगी।उन्होंने शिक्षकों से छात्रों के कमजोर विषयों पर ध्यान केंद्रित करने और उन्हें बेहतर बनाने के लिए ठोस कदम उठाने की अपील की।
एमडीएम समस्याओं का समाधान
बैठक में मध्याह्न भोजन योजना (एमडीएम) से जुड़ी समस्याओं पर भी चर्चा की गई। उपस्थित संस्था प्रमुखों ने अपने-अपने विद्यालयों में आ रही कठिनाइयों को साझा किया। विकास खंड शिक्षा अधिकारी ने समस्याओं का तत्काल समाधान किया और आश्वासन दिया कि भविष्य में इस योजना के सफल क्रियान्वयन के लिए हरसंभव सहयोग प्रदान किया जाएगा।
अपार आईडी और दस्तावेज़ तैयार करने पर जोर
विकास खंड स्त्रोत केंद्र समन्वयक सतीश स्वरूप पटेल ने बच्चों के अपार आईडी बनाने की प्रक्रिया पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि अपार आईडी बनाना आवश्यक है क्योंकि यह शिक्षा विभाग के सभी प्रमुख कार्यों के लिए आवश्यक है। उन्होंने समस्त संस्था प्रमुखों को निर्देश दिया कि वे बच्चों के रिकॉर्ड को अद्यतन रखें और इस प्रक्रिया को सरलता से पूरा करने के लिए अपनी टीम को प्रशिक्षित करें।
इसके अतिरिक्त, बच्चों के जाति प्रमाण पत्र और अन्य आवश्यक दस्तावेज़ बनाने पर भी चर्चा की गई। श्री पटेल ने सभी प्रमुखों को निर्देशित किया कि वे इस कार्य को प्राथमिकता दें और सभी छात्रों के दस्तावेज़ समय पर तैयार कराएं, ताकि आगे किसी प्रकार की समस्या न हो।
संस्था प्रमुखों से फीडबैक लिया गया
बैठक के दौरान संस्था प्रमुखों से उनके विद्यालयों में हो रही गतिविधियों और समस्याओं पर फीडबैक लिया गया। उन्होंने अपने अनुभव और सुझाव साझा किए, जिससे शिक्षा के क्षेत्र में बेहतर सुधार के लिए नए दृष्टिकोण प्राप्त हुए।
चतुर्थ समीक्षा बैठक ने शिक्षा क्षेत्र की कई महत्वपूर्ण चुनौतियों और उनके समाधानों पर चर्चा की। बैठक के अंत में यह निष्कर्ष निकला कि गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए शिक्षकों, शिक्षा अधिकारियों और प्रशासन के बीच बेहतर समन्वय की आवश्यकता है। सभी उपस्थित अधिकारियों और शिक्षकों ने इन निर्देशों को अमल में लाने और शिक्षा की गुणवत्ता को और बेहतर बनाने का संकल्प लिया।
इस प्रकार, यह बैठक न केवल शैक्षणिक कार्यों की समीक्षा का अवसर बनी, बल्कि नई योजनाओं को सफलतापूर्वक लागू करने का एक सशक्त माध्यम भी साबित हुई। उक्त जानकारी मीडिया प्रभारी धर्मेंद्र नाथ राणा एवं दुर्वादल दीप दी।